ASANSOL

RPF DOG SQUAD का ठंड में किया जाता है विशेष देखभाल

बंगाल मिरर, कुमार पप्पू, आसनसोल : आसनसोल रेल मंडल डॉग स्कवायड कार्यालय में वरिष्ठ सुरक्षा आयुक्त चंद्र मोहन मिश्रा के निर्देशानुसार उन्होंने ठंड गिरते हैं कुत्ते के रखरखाव को लेकर विशेष ध्यान देने का निर्देश दिया आसनसोल रेल मंडल के डॉग स्कॉट के इंचार्ज समीर कुमार बर्मन सब इंस्पेक्टर है उन्होंने बताया कि हमारे यहां 6 डॉग होते हैं जिसकी जानकारी मैं देता हूं एक का नाम कैप्टन है जो बेंगलुरु से खरीद कर दिल्ली में 8 महीना का ट्रेनिंग लेकर आया था या बेल्जियम शेफर्ड प्रजाति का डॉग है इसी जाति का डॉग ने लादेन को खोज कर निकाला था जो इसका काम है आसनसोल रेल मंडल में चोरों को पकड़ना इस डॉग को देखभाल हेड कांस्टेबल राजेश गोराई करते हैं दूसरा डॉग का नाम है जावा इसे देख-देख हेड कांस्टेबल ए बावरी करते हैं तीसरा डॉग तूफान जो नारकोटिक्स गांजा भांग को पकड़ने में काम करता है इसे देख-देख करते हैं ऐस के सिंह असिस्टेंट सब इंस्पेक्टर विक्की taker इस डॉग का देख देख बीडी महत्त्व करते हैं उसके बाद जो जो इस डॉग का काम है एक्सप्लोसिव सामान को पकड़ना उसके बाद मैक्स यह भी एक्सप्लोसिव यह सब डॉग को देखते हैं

RPF DOG SQUAD


ठंड के समय गिरते ही डॉग स्कवायड कार्यालय में कुत्ते को किस तरीका से रखने का बंदोबस्त किया जाता है उसके बारे में जानकारी या बता रहे हैं कि ठंड के समय में सभी डॉग के रूम बैठने या सोने के लिए एक चौकी होता है उसके ऊपर कारपेट लगाया जाता है उनके सभी लोगों पर रूम हीटर लगाते हैं और उसके बाद उन्हें उनका कीमती जैकेट पहन आते हैं उसके बाद सोने के बाद सुबह में यह सब डॉग को 6:00 बजे भोर में उठाया जाता है शौचालय कराने के बाद सुबह का नाश्ता बिस्किट खिलाया जाता है सुबह 7:30 बजे से लेकर 8:30 बजे तक इन लोगों को ट्रेनिंग दिया जाता है 8:00 बजे से लेकर 9:30 बजे तक कड़ी धूप में इनके बॉडी में मैसेज किया जाता है या मैसेज हर दिन किया जाता है उसके बाद कुछ समय तक इनको धूप दिखाया जाता है बॉडी मैसेज करते समय इनकी ब्लड सरकुलेशन ठीक-ठाक रहे इसी को लेकर लेकर इसे मसाज किया जाता है उसके बाद गर्म पानी कर कर इसे स्नान कराया जाता है

दोपहर के समय इनका भोजन मटन हरी सब्जी दाल और भात मिक्स कर कर इन्हें दिया जाता है उसके बाद 4:00 बजे ब्रेकफास्ट इन का होता है उस समय इन को बिस्किट खिलाया जाता है और रात में रॉयल केनल खिलाकर इन्हें बेड में भेज दिया जाता है और मुख्य बातें यह है कि सभी लोगों को हर एक महीना इनका उपचार भी कराया जाता है कोई डॉग अगर डॉक्टर ने बता दिया कि इस डॉग बीमार है तो उसे लेकर अपने रूम से एक अलग रूम में दो रूम बनाया गया है जो रूम के बाहर में लिखा हुआ है सिख रूम कि डॉक्टर ने जब तक एडवाइज देगा कि 10 दिन के बाद इन्हें काम में लाना है तब तक वह छुट्टी में रहेंगे अपने दूसरे कमरे में जिन्हें बोलते हैं सिख रूम जब उसके छुट्टी समाप्त हो जाएगी डॉक्टर जब बोलेंगे कि अब आप काम कर सकते हैं तब उस डॉग को फिर ऑफिस मिलाकर काम कराया जाएगा यह भी एक मुख विशेष बातें हैं और प्रत्येक डॉग को एक 11292 रुपए मिलता है उनके खाने और मेडिसिन के लिए और यह डॉग को ट्रेन में कभी भी कहीं ले जाना जाया जाता है तो किसी रेलवे की काम को लेकर तो इसे फर्स्ट क्लास एसी का पास मिलता है वह इसी में ही ट्रैवलिंग करते हैं

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