ASANSOLधर्म-अध्यात्म

मन पर नियंत्रण ही असली विजय : अनिरुद्ध आचार्य जी महाराज

Asansol में अनिरुद्ध आचार्य जी महाराज की कथा सुनने को भक्तों का जनसैलाब

बंगाल मिरर, आसनसोल : आसनसोल के सेनरेले इलाके के कन्यापुर हाई स्कूल के समक्ष मैदान में सप्तहव्यापी श्रीमद्भागवत कथा ज्ञानभक्ति महायज्ञ श्री श्याम सुंदर दास जी महाराज के तत्वावधान में मंडल परिवार की ओर से आयोजित किया गया है । वृंदावन से पधारे श्रद्धेय अनिरुद्ध आचार्य जी महाराज भागवत कथा पाठ कर रहे हैं। शनिवार इसका तीसरा दिन था। तीसरे दिन भी हजारों की तादाद में श्रद्धालु और उनके भक्त श्रीमद्भागवत पाठ का श्रवण करने मैदान में पहुंचे। श्री अनिरुद्ध आचार्य जी महाराज ने उपस्थित भक्त मंडली के सामने श्रीमद् भागवत गीता का सुनाया। इस दौरान विशिष्ट समाजसेवी शंकर शर्मा, सुनील मुकीम, सपना मुकीम, कविता केडिया, आयोजक ननी गोपाल मंडल, शांतारानी मंडल, जयदेव मंडल, सुकदेव मंडल, बुद्धदेव मंडल समेत बड़ी संख्या में लोग उपस्थित रहे।

उन्होंने कहा कि मन पर नियंत्रण करना सबसे बड़ा काम है। उन्होंने कहा कि अगर कोई इंसान पूरे विश्व को जीत रहता है। लेकिन अपने मन पर काबू नहीं पा सकता तो उसे विजयी नहीं कहा जा सकता।असली विजय तब होती है जब कोई अपने मन पर नियंत्रण पा लेता है। उन्होंने मन की तुलना एक प्रेत से की जिस पर नियंत्रण करना अति आवश्यक है। उन्होंने कहा कि एक संत ने एक प्रेस पर सिद्धि प्राप्त कर ली थी। वह प्रेत उसकी हर बात मानता था। लेकिन उसे हमेशा काम बताना पड़ता था। काम बताते बताते संत जब परेशान हो गए तो वह अपने गुरुजी के पास गए।गुरुजी ने उन्हें बताया कि उस प्रेत को हमेशा किसी न किसी काम में हो ही जाए रखने की जरूरत है। वरना वह प्रेत उस पर हावी हो जाएगा। ठीक वैसे ही मन को भी व्यस्त रखने की आवश्यकता है।

क्योंकि खाली दिमाग शैतान का घर होता है। वहीं लोगों द्वारा अपने जीवन को लेकर अत्यधिक चिंतित रहने के विषय पर बोलते हुए अनिरुद्ध आचार्य जी महाराज ने कहा कि अगर किसी को भगवान पर भरोसा है तो उसे चिंतित होने की आवश्यकता ही नहीं है। क्योंकि जिसे भगवान पर सही मायने में भरोसा है। उसके मन में इतना विश्वास रहता है कि वह चिंतित हो ही नहीं सकता है।

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