DURGAPUJA पर हाईकोर्ट का सख्त निर्देश
पंडालों के बाहर लगाएं No Entry के बोर्ड के साथ बैरिकेड
पूजा पंडालों का दर्शन करने पहोंचे श्रद्धालुओ की संख्या होगी 20 से 25
5 से 10 मीटर की दूरी से श्रद्धालु माँ दुर्गा व पंडालों का कर सकेंगे दर्शन
बंगाल मिरर, राज्य ब्यूरो, कोलकाता: कोरोना( Corona)को लेकर जहां पूरे देश की स्कूल कॉलेजें हैं बंद तो पूजा पंडाल का आयोजन करने की कैसे और किस तरह दी गई अनुमति यह सवाल उठाने के बाद अब कोलकाता हाईकोर्ट(Calcutta Highcourt) पश्चिम बंगाल में होने वाली दुर्गापूजा (Durgapuja) पंडाल को लेकर अब और सख्त हो गई है ।
अपना आदेश सुनाते हुवे ये कहा है के दुर्गापूजा पंडालों के बाहर नो इंट्री का बोर्ड लगाया जाए। साथ ही पंडालों के बाहर बैरिकेड भी लगाया जाए और पुलिस की संख्या भी बढ़ाई जाए साथ ही दुर्गापूजा पंडाल को देखने आने वाले श्रद्धालुवों को 5 से 10 मीटर की दूरी से ही दर्शन करने दिया जाए और दर्शन के दौरान सोसल डिस्टेंसिंग को धयान में रखते हुवे मात्र 20 से 20 लोगो को ही एक बार मे दुर्गापूजा पंडाल देखने की अनुमति दी जाए वहीं हाई कोर्ट ने सुनवाई में ये भी कहा है के देश मे तेजी से बढ़ते कोरोना मामले को देखते हुवे जहां स्कूल कॉलेज बंद है ।
वैसे में दुर्गापूजा पंडाल के इतने बड़े आयोजन की अनुमति आखिरकार किसने और कैसे दे दिए हम बतादें के हाई कोर्ट में पहले से ही ममता सरकार द्वारा दुर्गापूजा आयोजन करने वाले क्लबों को 50 हजार रुपए अनुदान राशि देने को लेकर एक बड़ी बहस छिड़ी हुई है। सरकार द्वारा दिए गए 50 हजार की अनुदान राशि के बदले उसके खर्च का ब्यौरा मास्क, हेंड सेनिटाइजर जैसी चीजों में खर्च करने की कागजात तैयार करने का आदेश क्लबों को दे दिया है। जिसके बाद राज्य सरकार द्वारा 50 हजार पाने वाले तमाम क्लब अब मास्क और हेंड सेनिटाइजर जैसी चीजों में खर्च का ब्यौरा जुटाने में लगे हैं।