Railway पहले पुनर्वास दे, फिर हटाने की सोचे : रूपेश
सैकड़ों दुकानदारों ने जुलूस निकालकर सौंपा ज्ञापन
बंगाल मिरर, धनंजय तिवारी, अंडाल : अंडाल के छोटे व्यापारियों ने गुरुवार को अंडाल रेलवे अधिकारी को एक विरोध रैली निकाल कर रेलवे स्टेशन के अधिकारियों को ज्ञापन सौंपा और मांग की उन्हें पुनर्वास के बिना बेदखल नहीं किया जा सकता है। आंदोलन का नेतृत्व कर रहे रानीगंज टाउन तृणमूल कांग्रेस के अध्यक्ष रूपेश यादव ने कहा अंडाल रेलवे स्टेशन से सटे इलाके में करीब 500 से 600 दुकानें लगी हुई रहती है। सब्जी मंडी भी है कई दुकानदारों का दावा की दुकान है। वे यहां तीस-चालीस साल से अपनी दुकाने कर रहे हैं। रेलवे ने हाल ही में 6 फरवरी तक अपनी दुकानें खाली करने का नोटिस जारी किया है। नोटिस मिलने के बाद व्यापारी स्वाभाविक रूप से चिंतित हैं। नोटिस को वापस लेने और पुनर्वास की मांग को लेकर गुरुवार को रेलवे अधिकारी को ज्ञापन दिया गया,
प्रदर्शनकारियों की ओर से दिलीप मांझी और शोवन पाल ने कहा कि यहां दूकानदार का अपना परिवार है. उनका परिवार व्यापार कर गुजारा करता है। बिना पुनर्वास या वैकल्पिक उपायों के बेदखल किए जाने पर परिवार सड़कों पर उतर आएंगे, यदि उनकी पुनर्वास नहीं किया गया तो वे जमीन का एक टुकड़ा भी नहीं छोड़ेंगे। छोटे कारोबारियों का पक्ष रूपेश यादव ने रेलवे अधिकारियों के पास रखा है।
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उन्होने कहा की सुनसान जगहों में गरीब लोग किसी तरह अपनी दुकान चला कर अपना गुजारा करते हैं। उन्हें ऐसे ही उठने के लिए कहने से उनकी रोजी-रोटी बंद हो जाएगी। इसलिए रेलवे पहले उन लोगों का पुनर्वास करे, फिर उन्हें बेदखल करे। नहीं तो वे भी कानून की आड़ में आंदोलन में शामिल होंगे।वहीं आसनसोल मंडल के डीआरएम परमानंद शर्मा ने कहा कि रेलवे सेवाओं को और बेहतर बनाने के लिए यात्रियों को अधिक सुविधाएं मुहैया कराने के लिए रेलवे के आसपास और जगह की जरूरत है।उन्होंने कहा कि सभी को हित में इसे स्वीकार करना चाहिए।
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