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West Bengal में रेलवे को 11970 करोड़ का आवंटन

सिक्किम में सेवक – रंगपो नई लाइन परियोजनाओं के लिए 2350 करोड़ रुपये

बंगाल मिरर, कोलकाता :  केंद्रीय रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव,  ने  कल  भारतीय रेलवे को राज्यवार कुल बजट आवंटन पर प्रकाश डालते हुए (विडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से) एक प्रेस कॉन्फ्रेंस आयोजित की। पश्चिम बंगाल के लिए वर्ष 2023-24 हेतु कुल बजटीय आवंटन रु. 11970 करोड़ दिया गया है जबकि 2009-2014 की अवधि के लिए पहले कुल आवंटन 4308 करोड़ था। पश्चिम बंगाल में कुल 93 स्टेशनों को विकसित किया जाना है। इसमें से आसनसोल मंडल के लिए, अमृत भारत स्टेशन योजनाओं के तहत 15 स्टेशनों की पहचान की गई है। इन स्टेशनों को सभी यात्री सुविधाएं प्रदान करने वाले विश्व स्तरीय स्टेशनों में अपग्रेड किया जाना है।

वित्तीय वर्ष 2023-24 के दौरान, आसनसोल मंडल कुछ परियोजनाओं पर विशेष ध्यान देगा जैसे- 68 नन इंटरलॉक्ड लेवल क्रॉसिंग पर स्लाइडिंग बूम टाइप गेट्स, राजधानी रूट में लेवल क्रॉसिंग का उन्नयन, बदले में मधुपुर-जोड़ामो में रोड ओवर ब्रिज पुल संख्या 618 के नीचे की सड़क, शंकरपुर-जसीडीह स्टेशनों के बीच समपार सं. 27/सी के स्थान पर ऊपरी सड़क पुल, डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर मार्ग पर 48 समपारों को पूरा करना आदि। रेल मंत्री श्री वैष्णव ने भी राज्य सरकार से भूमि अधिग्रहण, कानून-व्यवस्था समर्थन आदि के लिए पूर्ण समर्थन देने का अनुरोध किया।

पूर्वोत्तर में 59 स्टेशनों को विश्व स्तरीय सुविधाओं के साथ विकसित किया जाएगा

वहीं रेलमंत्री अश्विनी वैष्णव द्वारा देश भर में जोनल स्तर पर महाप्रबंधकों के साथ बातचीत की गई। वीडियो कांफ्रेंसिंग के दौरान पू. सी. रेल के महाप्रबंधक श्री अंशुल गुप्ता और मुख्यालय के वरिष्ठ रेलवे अधिकारी भी उपस्थित थे। समानान्तर कार्यक्रम पू. सी. रेल के सभी मंडलों में भी आयोजित किया गया, जहां मंडल रेल प्रबंधकों ने हिस्सा लिया। विभिन्न स्थानों के संवाददाता भी वर्चुअली जुड़े। संवाददाताओं को संबोधित करते हुए, रेल मंत्री ने बताया कि रेलवे के लिए 2.40 लाख करोड़ रुपये का पूंजीगत परिव्यय का प्रावधान रखा गया है। इस वर्ष का आवंटन अब तक का सर्वाधिक परिव्यय है, जो 2013-14 में किए गए परिव्यय का लगभग 9 गुना और पिछले वर्ष की तुलना में 51% अधिक है।

रेल मंत्री ने कहा कि पूर्वोत्तर में 59 स्टेशनों को विश्व स्तरीय सुविधाओं के साथ विकसित किया जाएगा। ‘विरासत भी, विकास भी’ की विरासत परिकल्पना को ध्यान में रखते हुए, उन्होंने बताया कि यात्रियों के लिए बेहतर सवारी अनुभव और आरामदायक यात्रा के लिए पूर्वोत्तर में 310 पुराने ट्रेन कोचों को एलएचबी कोच में बदला जाएगा। पिछले वर्ष के दौरान, असम में 445 किलोमीटर रेल पटरियों को विद्युतीकृत किया गया है। अमृत भारत स्टेशन योजना के तहत पू. सी. रेल के सभी मंडलों में प्रति 15 स्टेशन विकसित किए जाएंगे।

बातचीत के दौरान, मंत्री ने बताया कि सभी पूर्वोत्तर राज्यों में रेलवे के बुनियादी ढांचे के समग्र विकास के लिए पर्याप्त धन आवंटित किया गया है। पहली बार, 1.20 लाख करोड़ रुपये की योजना राशि के साथ पहाड़ी और सीमावर्ती क्षेत्रों को जोड़ने की परिकल्पना की गयी है।

इसके अलावा, वित्त वर्ष 2023-24 के लिए पू. सी. रेल के लिए सकल बजट आवंटन 10,988.80 करोड़ रुपये का है। यह पिछले वर्ष के आवंटन (9,660.14 करोड़ रुपये) से 13.75% अधिक है। पूर्वोत्तर राज्यों के लिए 10,269 करोड़ रुपये का आवंटन किया गया है यानी पिछले साल से करीब 300 करोड़ रुपये अधिक। इस वर्ष का बजट आवंटन नई लाइन और दोहरीकरण परियोजनाओं, ट्रैक नवीनीकरण कार्यों, परिवहन सुविधाएं, सड़क सुरक्षा कार्यों, पुल कार्यों, सिगनलिंग, कारखाना आधुनिकीकरण और ग्राहक सुविधाओं आदि जैसे कई क्षेत्रों में अभूतपूर्व वृद्धि दर्शाता है। नई लाइनों के लिए लगभग 6591 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं जबकि रेल पटरियों के दोहरीकरण के लिए 1364 करोड़ रुपये है। रेल मंत्री ने बताया कि समग्र पूर्वोत्तर क्षेत्रों में 75,795 करोड़ रुपये की कुल रेलवे अवसंरचना परियोजनाएं चल रही है। 

चल रहे सभी कार्यों के शीघ्र निष्पादन के लिए पर्याप्त आवंटन किया गया है। डिमापुर – कोहिमा नई लाइन परियोजनाओं के लिए करीब 1100 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं, जबकि जिरिबाम – इम्फाल नई लाइन परियोजनाओं के निष्पादन के लिए 800 करोड़ रुपए निर्धारित किए गए हैं। पूर्वोत्तर राज्यों में अन्य राजधानी संपर्क परियोजनाएं जैसे सिक्किम में सेवक – रंगपो नई लाइन परियोजनाओं के लिए 2350 करोड़ रुपये, मिजोरम में बइरबी – साईरंग नई लाइन परियोजनाओं के लिए 915 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं। अन्य नई लाइन परियोजनाओं में भारत और बांग्लादेश के बीच अगरतला – अखौरा अंतरराष्ट्रीय संपर्क परियोजना के लिए 200 करोड़ और अररिया – गलगलिया परियोजना के लिए लगभग 700 रुपये करोड़ रुपये आवंटित किये गये है।

  न्यू बंगाईगांव – रंगिया – कामाख्या और न्यू बंगाईगांव – गोवालपारा – कामाख्या में चल रहे रेल पटरियों के दोहरीकरण कार्यों के तेजी से निष्पादन के लिये क्रमश: 600 करोड़ रु. और 500 करोड़ रु. आवंटित किए गए हैं। इसके अलावा कटिहार – कुमेदपुर और कटिहार – मुकुरिया अनुभागों के बीच दोहरीकरण कार्यों के लिए 115 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं ताकि पूर्वोत्तर के लिए ट्रेन कनेक्टिविटी को और बेहतर बनाया जा सके।यह उल्लेखनीय है कि गुवाहाटी के निकट आगियाठरी स्टेशन को 517 करोड़ रुपये की लागत से विश्व स्तर की सुविधाओं के साथ पुनर्विकसित किया जाएगा।

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