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CYBER अपराधियों ने खोजा ठगी का नया तरीका, बिना OTP कर देंगे अकाउंट खाली

बंगाल मिरर, आसनसोल : साइबर ठगों (CYBER CRIMINALS) ने लोगों के अकाउंट को खाली करने के लिए ऑनलाइन ठगी (ONLINE FRAUD) का सबसे अत्याधुनिक तरीका ई-सिम को अपनाया है। इस प्रक्रिया में ना तो कोई ओटीपी (OTP) पूछा जाएगा ना ही कोई अन्य दूसरी जानकारी मांगी जाएगी। आसानी से ठग आपका पूरा बैंक अकाउंट खाली कर देंगे और आपको इसकी जानकारी तक नहीं मिलेगी। ई- सिम ठगी की प्रक्रिया ने पुलिस के लिए भी परेशानी पैदा कर दी है। लोग इसमें आसानी से फंस जा रहे हैं।

File photo
जागरूकता से ही ऑनलाइन ठगी का कारोबार बंद हो सकता


जामताड़ा (jamtara) में पकड़े गए एक साइबर ठग गैंग से खुलासा हुआ कि उन लोगों ने ई-सिम ठगी से करोड़ों रुपए की ठगी की है और 300 से ज्यादा अकाउंट में पैसे ट्रांसफर किए है। इस संबंध में पुलिस आयुक्त सुकेश कुमार जैन ने कहा कि ऑनलाइन ठगी के लिए सभी प्रक्रियाओं को लेकर जागरूकता अभियान आरंभ किया गया है। लोगों की जागरूकता से ही ऑनलाइन ठगी का कारोबार बंद हो सकता है। पुलिस आयुक्त श्री जैन ने बताया कि ई- सिम ऑनलाइन ठगी का सबसे अत्याधुनिक तरीका है।

ठग किसी को भी फोन करके कहते हैं कि आप अपने फोन में ई-सिम एक्टिवेट करना चाहते हैं। यह सिम वर्चुअल होता है। इससे ठगी का खतरा कम है। यह सामान्य सिम की तरह ही काम करेगा। फोन पानी में गिर जाने पर भी कोई समस्या नहीं होगी आदि, इस तरह वे ई-सिम की खुबियां बताकर अपने शिकार को जाल में फंसा लेते हैं।

ई- सिम की खूबियां जानकर भी कोई भी इससे अपने मोबाइल में एक्टिवेट करना चाहेगा। इसे एक्टिवेट करने के लिए ठगी जो प्रक्रिया बताते हैं। वही ठगी का सारा खेल होता है।

कुछ ही घंटों में आपका सारा डाटा खंगाल लेगा

वह आपको बताएंगे कि ई- सिम डैस 123 एयरटेल या वोडाफोन डाट इन लिखकर सर्विस प्रोवाइडर कंपनी को भेजने को कहेंगे।यह ई-मेल ऐसा लगेगा कि मानो किसी कंपनी का है। लोग आसानी से इसके झांसे में फंस जाते हैं और ठग द्वारा भेजे गए ई-मेल को ही सर्विस प्रोवाइडर कंपनी को ये भेजने को कहेंगे।

आपका रिक्वेस्ट कंपनी के पास पहुंचते ही वहां से मैसेज आएगा कि यदि आप ई- सिम एक्टिवेट करना चाहते हैं तो 1 प्रेस कीजिए। जैसे ही आप वन प्रेस करते हैं आपको ई-सिम एक्टिवेट करने के लिए एक क्यूआर कोड आपके द्वारा भेजे गए ई-मेल पर भेजा जाएगा। यह कोर्ट के पास चला जाएगा क्योंकि आपके ठग के द्वारा भेजा गया ई-मेल को एक्टिवेट करने के लिए कंपनी को भेजा था। यह कोड ठग के पास जाते ही वह आपका ई- सिम अपने मोबाइल फोन पर एक्टिवेट कर लेगा। उसके बाद कुछ ही घंटों में आपका सारा डाटा खंगाल लेगा। आपका पूरा फोन ही उसके पास चला जाएगा।

एप्पल और गूगल पिक्सल के हाई वर्सन फोन में ही यह सुविधा

पुलिस आयुक्त सुकेश कुमार जैन ने कहा कि ई-सिम कि सुविधा हर मोबाइल फोन में नहीं होती है। एप्पल और गूगल पिक्सल के हाई वर्सन फोन में ही यह सुविधा है। इसीलिए इसकी सुविधा हर एक के लिए नहीं है। ठग के पास हाई वर्सन का फोन है वह आपके नंबर से ई-सिम निकालकर उपयोग कर सकता है।

ई- सिम के लिए हमेशा आप अपना ई-मेल आईडी दें जिसका उपयोग आप करते हैं। इसीलिए कोई भी मैसेज कंपनी से आएगा तो उसे आप देख सकेंगे। किसी भी अंजान नंबर से फोन आने पर उसका भरोसा न करें। अपने सर्विस प्रोवाइडर कंपनी से संपर्क करें। इस प्रकार ई-सिम ठगी से आप बच सकते हैं।

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