रानीगंज चेंबर चुनाव को लेकर बढ़ी सरगर्मी
14 मार्च को होना है मतदान
बंगाल मिरर, रानीगंज : दक्षिण बंगाल के प्रतिष्ठित व्यवसायिक संगठन रानीगंज चेंबर ऑफ कामर्स की कार्यकारिणी समिति के चुनाव को लेकर सरगर्मी बढ़़़ गई है। दो ग्रुप दलगत रूप से चुनावी प्रचार-प्रसार कर रहे है।
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चेम्बर की कार्यकारिणी समिति 2021-22 के लिए आगामी 14 मार्च को मतदान होना है। रानीगंज चेम्बर ऑफ कामर्स (आरसीसी) के 31 सदस्यों वाली कार्यकारिणी समिति के लिए 23 सदस्य गुप्त मतदान के द्वारा निर्वाचित होकर आते हैं। आरसीसी के 876 सदस्य गुप्त मतदान के जरिए 23 सदस्यों को निर्वाचित कर कार्यकारिणी में भेजते हैं। पिछले तीन सालों से चेम्बर दलगत राजनीतिक का मंच बन चुका है। भले ही आरसीसी किसी राजनैतिक पार्टी से प्रेरित नहीं है परन्तु चेम्बर की दलगत राजनैतिक या गुटबाजी किसी राजनैतिक दल से किसी भी मायने में कम नहीं है।
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चेम्बर की कार्यकारिणी समिति के चुनाव में लिखित रूप से दो दलों ने स्वतः ही अपना नामकरण कर लिया है। इस नामकरण को जमीनी स्तर पर चिन्हित करने का प्रयास भी करते दिख रहे हैं। पहला दल टीआरपी और दुसरा दल आरबीसी है।
टीआरपी और आरबीसी में है टक्कर
टीआरपी दल का नेतृत्व आरसीसी के निवर्तमान अध्यक्ष संदीप भालोटिया कर रहे हैं तो आरबीसी का नेतृत्व रोहित खेतान कर रहे है। संदीप भालोटिया व रोहित खेतान के बीच केवलमात्र आरसीसी की कार्यकारिणी समिति के चुनाव के दौरान ही दलगत राजनीतिक नहीं हो रही है बल्कि वर्ष भर ही दोनों सत्ता पक्ष एवं विरोधी पक्ष की भूमिका में नजर आए। चेम्बर एक गैर राजनैतिक संस्था है किन्तु कार्यकारिणी समिति के चुनाव के दौरान किसी भी राजनैतिक दल से कम की भूमिका में नहीं रहती है। टीआरपी ग्रुप और आरबीसी ग्रुप अपने-अपने मेनुफेस्टो के साथ चुनाव प्रचार कर रहे हैं।
आरसीसी कार्यकारिणी के लिए 23 सीटों के लिए दलगत रूप से 45 उम्मीदवार चुनावी मैदान में हैं। टीआरपी ग्रुप से 22 उम्मीदवार एवं आरबीसी ग्रुप से 23 उम्मीदवार चुनाव लड़ रहे हैं। गत वर्ष कार्यकारिणी आरसीसी के कार्यकारिणी समिति का चुनाव हारने वाले 3 सदस्य पुनः इस बार भी चुनाव लड़ रहे हैं। इनमें टीआरपी ग्रुप से 1 और आरबीसी ग्रुप से 2 सदस्य शामिल हैं।
चेम्बर के आम एवं सक्रिय सदस्यों से बातचीत के दौरान अब तक यह आंकड़े सामने आए हैं कि एक ग्रुप से 10 सदस्य एवं दूसरे ग्रुप से 11 सदस्यों की जीत पक्की है यानी और 2 उम्मीदवार जिस दल से जीतेंगे, उसी दल को आर्थिक वर्ष 2021-22 के लिए चेम्बर की कार्यकारिणी समिति पर अपना कब्जा होगा। रानीगंज चेम्बर ऑफ कामर्स की कार्यकारिणी समिति के चुनाव में व्यवसायी वर्ग अपनी दिलचस्पी दिखाते हुए दोनों ही दल के निश्चित रूप से हारने वाले उम्मीदवारों की भी सूची बना डाली है। इनकी सूची के अनुसार, पहले दल से 11 और दूसरे दल से 9 उम्मीदवारों की हार पक्की बतायी गयी है।
वहीं दलगत रूप से ब्लॉक वोट डालना यह प्रमाणित करता है कि भले ही रानीगंज चेम्बर ऑफ कामर्स गैर-राजनैतिक संगठन हो परन्तु सत्ता में काबिज होने का तरीका किसी राजनैतिक दल की रणनीति से कम नहीं है।