ASANSOL

Sehgal Hossain : फिर 14 दिन की जेल

बंगाल मिरर, एस सिंह, आसनसोल : गौ तस्करी मामले ( Cattle Smuggling Case ) में सहगल हुसैन ( Sehgal Hossain) को एक बार फिर जमानत देने से कोर्ट ने इंकार कर दिया। आसनसोल सीबीआई ( CBI ) की विशेष अदालत के न्यायाधीश राजेश चक्रवर्ती ने गुरुवार को उसे जमानत देने से इनकार कर दिया और दोनों पक्षों के वकीलों द्वारा घंटों दलील सुनने के बाद 14 दिनों की जेल हिरासत का आदेश दिया। जज ने आदेश दिया कि इस मामले की अगली सुनवाई 1 सितंबर को होगी।

सहगल के वकील अनिर्बान गुहा ठाकुरता ने जमानत याचिका में उनके परिवार की मौजूदा स्थिति पर प्रकाश डाला। घर पर उसकी बूढ़ी मां है। शारीरिक रूप से अक्षम पुत्री हैं। कोई पुरुष नहीं है। उसकी पत्नी को अकेले ही सब कुछ करना पड़ता है। इसके अलावा, उन्होंने बीएसएफ कमांडेंट सतीश कुमार का मुद्दा उठाया, जिन्हें इसी मामले में गिरफ्तारी के 32 दिनों के बाद जमानत मिल गई थी। पूछताछ के दौरान उन्होंने जिस तरीके से सहगल का फोन जब्त किया गया और जिस तरह से सीबीआई ने अपनी जांच की, उस पर भी सवाल उठाया। उन्होंने कहा कि प्रक्रिया के अनुसार फोन को जांच के लिए सेंट्रल फोरेंसिक लैब में नहीं भेजा गया था। उस वक्त सीबीआई के जांच अधिकारी ने सहगल के फोन को जांच के लिए लैब में भेजने की बात कही थी। तब सहगल के वकील ने उनका विरोध किया। हालांकि, जज ने अब आदेश दिया है कि फोन को टेस्टिंग के लिए भेजा जाए। 

अनिर्बान गुहा ठाकुरता ने भी कोर्ट में सीबीआई जांच पर उठाए सवाल उन्होंने कहा कि हाईकोर्ट ने सीमा पार से तस्करी की जा रही गायों की जांच के आदेश दिए थे। लेकिन सीबीआई अपराध की जांच नहीं कर रही है बल्कि यह देखना चाहती है कि उसने बीरभूम जिले में गायों की तस्करी करके कितना पैसा कमाया है। गायें उत्तर प्रदेश या अन्य राज्यों से बंगाल में आईं। लेकिन सीबीआई जांच में उन राज्यों की पुलिस से पूछताछ करने की हिम्मत नहीं दिखा पा रही है। एनामुल हक के बारे में भी कहा जाता है कि वह गायों की तस्करी करता था। हालांकि चार्जशीट में कोई क्लाज नहीं दिया गया है। जो सीमा शुल्क अधिनियम में निहित है। तो, यह मेरे मुवक्किल के लिए कैसे काम करता है? उसे किसी भी शर्त पर जमानत दी जाए।

इसके साथ ही सहगल के वकील ने आरोप पत्र की प्रति उपलब्ध न होने की ओर न्यायाधीश का ध्यान आकर्षित किया। न्यायाधीश ने सीबीआई को सात दिनों के भीतर इसे उपलब्ध कराने का निर्देश दिया। वह आज जेल में बंद सहगल की शारीरिक स्थिति जानना चाहता है। सहगल ने उठकर कहा कि उसे बुखार है। छाती का संक्रमण। जेल प्रशासन उसे जांच के लिए आसनसोल जिला अस्पताल ले गया। अब वह ठीक है। हालांकि, न्यायाधीश ने पाया कि जेलर द्वारा अदालत में कोई रिपोर्ट प्रस्तुत नहीं की गई थी। इसके अलावा, न्यायाधीश ने एक सितंबर को सहगल के घर से जब्त किए गए सोने के गहने और अन्य गहनों पर एक सितंबर को एक रिपोर्ट प्रस्तुत करने का आदेश दिया।

सीबीआई के वकील राकेश कुमार ने जज के सामने यह तथ्य उठाया कि बीरभूम तृणमूल कांग्रेस के जिलाध्यक्ष अनुब्रत मंडल, जिन्हें हाल ही में इस मामले में गिरफ्तार किया गया । सहगल की जमानत याचिका का विरोध करते हुए उन्होंने कहा कि उनसे पूछताछ में काफी कुछ नया मिला है। पता चला है कि सहगल हुसैन इनामुल हक से पैसे लेता था। जांच व पूछताछ जारी है। अगर इस समय सहगल को जमानत मिल जाती है तो वह प्रक्रिया बाधित हो जाएगी। अंत में, सीबीआई के अनुरोध को स्वीकार करते हुए, आसनसोल विशेष सीबीआई अदालत के न्यायाधीश राजेश चक्रवर्ती ने सहगल की जमानत से इनकार कर दिया और 14 दिन जेल का आदेश दिया।

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